राजसमंद। कसार, चारभुजा की सनातन वैदिक शिक्षण संस्थान की ओर से कोरोना संक्रमण के चलते ऑनलाइन आयोजित 15 दिवसीय वैदिक संस्कार शिविर का समापन रविवार को हुआ। शिविर में 100 से अधिक बटुकों को प्रशिक्षण दिया गया। ऑनलाइन शिविर में मुख्य अतिथि संस्कृत मंत्री डॉ. सुभाष गर्ग थे, जबकि विशिष्ट अतिथि दैनिक भास्कर समूह के डायरेक्टर गिरीश अग्रवाल और मुख्य वक्ता संस्कृत भारती तेलंगाना के प्रांतीय अध्यक्ष वेमू. नरेंद्र कापरे घनपाठी थे।
कार्यक्रम में अग्रवाल ने कहा कि भविष्य में इस प्रकार का आयोजन निरंतर सपूर्ण देश में होता रहे, तो दुनियाभर के लोग ऑनलाइन वैद सीख सकेंगे। संस्कृत मंत्री ने कहा कि बच्चों को संस्कारवान बनाने के लिए यह बहुत जरूरी है, जबकि वेदमूर्ति नरेन्द्र कापरे ने वेद विहित कर्म को ही धर्म और वेद में निषिद्ध कर्म को अधर्म बताते हुए अपना व्यायान दिया। सैवंत्री सरपंच विकास दवे ने अतिथियों का स्वागत किया।
कोविडकाल के चलते सनातन वैदिक शिक्षण संस्थान, कसार द्वारा 21वां वैदिक शिक्षण शिविर 21 मई से 6 जून तक सम्पन्न हुआ। पं योगेश त्रिवेदी ने शिविर के पाठ्यक्रम और दिनचर्या से अतिथियों को अवगत कराया। सोनल दवे, मानसी दवे ने स्तौत्र प्रस्तुत किए तथा संस्था के अध्यक्ष पं. उमेश द्विवेदी ने सभी अतिथियों को धन्यवाद ज्ञापित किया। वैदिक शिक्षण शिविर में राजस्थान, महाराष्ट्र, गुजरात, मध्यप्रदेश सहित भारत के अनेक राज्यों से 100 से पंजीकृत और सैंकड़ो अपंजीकृत विद्यार्थियों ने तथा साथ ही उनके अभिभावकों ने भी इस ऑनलाइन शिविर से जुड़े।
शिविर में संध्यावंदन, योगाभ्यास, देवता नमस्कार, भद्रसूक्त, पुरुषसूक्त, रूद्रसुक्त, पुजोपचार के मंत्र आदि का विधिवत अध्ययन हुआ। संध्यावंदन और योगाभ्यास का ऑनलाइन प्रशिक्षण और प्रयोग पं. भरत पानेरी, पं. जितेन्द्र शर्मा, पं. प्रशांत व्यास द्वारा भद्रसुक्त, देवता नमस्कार, पुरुषसूक्त का अध्यन पं योगेश त्रिवेदी, पं. देवप्रकाश पालीवाल, पं. अनिल शर्मा द्वारा अभ्यास करवाया।
बौद्धिकसत्र में राजस्थान प्रदेश के भाजपा संगठन महामंत्री चन्द्रशेखर, पूर्व केबिनेट मंत्री अरुण चतुर्वेदी, चितौडगढ़ के सांसद सीपी जोशी, राजसमन्द की विधायक दीप्ति किरण माहेश्वरी, राजस्थान विधानसभा के आयुर्वेदिक अधिकारी डॉ वृन्दावन शर्मा, पाणिनि विवि के वेदविभाग के प्रो. संकल्प मिश्र, संस्कृत विभाग, मोहनलाल सुखाडिया विवि के प्रो. मुरलीधर पालीवाल, द्वारिका संस्कृत महाविद्यालय के प्राचार्य डॉ. कुलदीप पुरोहित, दिल्ली अधीनस्थ सेवा के संस्कृत व्याख्याता डॉ. हंसराज जोशी, राष्ट्रीय आदर्श वेद गुरुकुल के सलक्षण सामवैदिक डॉ. जयप्रकाश शर्मा, राजसमन्द के शिक्षाविद दिनेश श्रीमाली, कविराज सूर्यप्रकाश दीक्षित की मौजूदगी रही।
कुंभलगढ़ तहसील के मात्र चालीस घरों के गांव कसार में पं कन्हैलाल द्विवेदी और पं. उमेश द्विवेदी द्वारा सन् 2001 में स्थापित सनातन वैदिक शिक्षण संस्थान द्वारा इससे पूर्व 20 शिविरों का आयोजन किया जा चुका है। जिसमें भारत के विभिन्न प्रान्तों से आठ हजार से भी अधिक बटुकों ने वैदिक शिक्षा प्राप्त की है।