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जयपुर में विवाहिता ने पति और दहेज से तंग आकर 22 जुलाई को सल्फास खा लिया। अस्पताल में इलाज के दौरान 29 जुलाई को उसकी मौत हो गई। गर्भवती होने पर पति व ससुराल वालों ने अबॉर्शन कराने की बात कही थी। उसे ताना दिया कि ये बच्चा किसका है? महिला ने अबॉर्शन से इनकार किया तो ननद बुखार का बहाना बनाकर डॉक्टर के पास ले गई। गोलियां खिलाकर अबॉर्शन करा दिया। पेट दर्द हुआ तो अस्पताल भी नहीं ले गए। हालत बिगड़ी तो भाई आकर मायके (पीहर) ले गया। वहीं इलाज कराया गया। वह ठीक भी हो गई। फिर एक दिन पति ने उसे इतना दुत्कारा कि बर्दाश्त नहीं हुआ। उसने उसी रात जहर खा लिया। 30 जुलाई की देर रात विवाहिता के पिता ने जमवारामगढ़ थाने में रिपोर्ट दर्ज कराई है।

रामनिवास (48) पुत्र बिरदाराम निवासी भूज जमवारामगढ़ ने रिपोर्ट दर्ज कराई है। उन्होंने बताया कि उनकी चार बेटियां थीं। दो बड़ी बेटी वर्षा व रितु जुड़वा थीं। 18 साल की होने पर दोनों जुड़वा बेटियों की शादी 15 मार्च 2021 को जोजराला जमवारामगढ़ के रोहिताश (21) व सतराज पुत्र नाथूराम से कर दी थी। इसमें बड़ी बेटी वर्षा की शादी रोहिताश से हुई थी। वहीं, रितु की शादी नाथूराम से। रोहिताश और सतराज सगे भाई हैं। रोहिताश प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी कर रहा है। उन्होंने शादी में दहेज के रूप में एक मैसी का ट्रैक्टर, 2.50 लाख रुपए, फर्नीचर व गहने समेत सारा सामान दिया था। दोनों बहनें ससुराल गईं तो सबसे पहले उनकी पढ़ाई छुड़ा दी गई। दहेज को लेकर ताने दिया जाने लगा। उनके साथ मारपीट होने लगी। आरोप है कि वर्षा का पति राेहिताश फोन पर कई लड़कियों से बातें करता था।

अस्पताल में जिंदगी के लिए जंग लड़ती वर्षा। बाद में दम तोड़ दिया।

वर्षा के पिता रामनिवास ने बताया कि शादी के बाद बड़ी बेटी वर्षा दो महीने की गर्भवती हुई। पति व ससुराल वाले अबॉर्शन का दबाव बनाने लगे। उसे कहा कि अभी हमें कोई बच्चा नहीं चाहिए। ताने देने लगे कि पता नहीं किसका बच्चा लेकर आई है। उस पर गोलियां खाने का दबाव बनाने लगे। वह किसी तरह से चुपचाप सहती रही। रोहिताश की बहन वर्षा की तबीयत खराब होने पर इलाज के बहाने डॉक्टर के पास ले गई। घर आने पर उसने दवाई ले ली। कुछ समय के बाद उसके पेट में दर्द होने लगा। वह जोर-जोर से दर्द के कारण चीखने लग गई। उसने पति व ससुराल वालों को पेट दर्द की बात कही। किसी ने उसकी बात नहीं सुनी। परेशान होकर उसने भाई अजय को फोन किया। अजय फौरन वर्षा के पास आया। उसकी हालत खराब थी। वह वर्षा और रितु दोनों बहनों को घर पर ले आया। इसके बाद 19 जुलाई को उसे सांगानेरी गेट महिला चिकित्सालय जयपुर में एडमिट कराया। तीन दिन तक वह भर्ती रही थी। सुधार होने पर उसे छुट्‌टी दे दी। अस्पताल में भी उससे ससुराल का कोई मिलने नहीं आया था।

पति बोला-तुझसे कोई मतलब नहीं, जहर खाकर मर जा

घर आने पर वर्षा ने रोहिताश को 22 जुलाई की रात फोन किया। उसने बोला कि तुम अस्पताल में मिलने नहीं आए। इस बात पर रोहिताश ने कहा कि तू हमारे लिए मर चुकी है। जहर खाकर मर जा। तुझ से कोई मतलब नहीं है। इसके बाद रोहिताश ने फोन बंद कर लिया। वर्षा अलग कमरे में सो रही थी। रात को उसने सल्फास की गोलियां खा लीं। उसकी तबीयत बिगड़ी। अस्पताल ले जाया गया। उसकी हालत नाजुक बनी हुई थी। 29 जुलाई को उसकी मौत हो गई।

वर्षा के साथ उसकी बहन रितु को भी ससुराल में दहेज के लिए परेशान किया जाता रहा। उसके साथ भी ससुराल वालों और पति द्वारा मारपीट की गई। दोनों बहनें पीहर में ही आकर रहने लगी थीं। वर्षा की मौत के बाद अब रितु सदमे में है।