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महिला अफसर ने किया 60 लाख का घोटाला, किसी को भनक तक नहीं

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राजस्थान में सरकार द्वारा भ्रष्टाचार को दूर करने के प्रयास करती है, मगर फिर भी सरकारी अफसर और कर्मचारी आपसी सहयोग से ऐसे काम कर ही देते हैं। सरकार द्वारा कई कठोर नियम लागू किए जाते हैं मगर वह नियम धरातल पर गौण साबित हो रहे हैं। नगरपालिका पावटा की अधिशासी मनीषा यादव पर आरोप है कि उन्होंने विराटनगर नगरपालिका के टेंडर काे पावटा की नगरपालिका आईडी से जारी कर दिए।

अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक सुरेंद्रसिंह ने बताया कि पावटा नगरपालिका की अधिशासी अधिकारी मनीषा यादव ने मिलीभगत से फर्जी टेंडर जारी कर दिए। बताया कि मनीषा यादव विराटनगर पालिका अध्यक्ष सुमिता सैनी और उसका पति नरेंद्र सेनी कैशियर रिंकू व मुखराम गुर्जा ने मिलकर फर्जी टेंडर अपने भरोसेमंद ठेकेदार को दे दिए। 6 फर्जी टेंडर जारी किए मगर किसी को भनक तक नहीं लग पाई। पुलिस अधीक्षक ने बताया कि जब पुछताछ की गई तो विराटनगर पालिका के कनिष्ठ सहायक राहुल शर्मा ने कहा कि 6 फर्जी टेंडरों की कोई जानकारी उसके पास नही थी। उसने बताया कि मुझे तो कोई सामान ही नही मिला। पुलिस की कार्यवाही में सामने आया कि सामान खरीदे बिना ही आरोपियों ने 60 लाख का भुगतान कर दिया। मनीषा यादव वर्तमान में पावटा प्रागपुरा नगरपालिका की अधिशासी अधिकारी के पद पर कार्यरत है। मनीषा यादव के पास विराटनगर पालिका का अतिरिक्त कार्यभार था। दो नगरपालिका के चार्ज होने से मनीषा यादव ने अपने इस काम को अंजाम दे दिया। मनीषा यादव के खिलाफ एसीबी ने एफआईआर दर्ज की।

पत्रावलियों में त्रुटी, किसी को भनक तक नहीं

फर्जी टेंडर की सूचना पर पुलिस ने कई घटो तक प्रयत्न कर रिकॉर्ड खंगाला, पुलिस की टीम विराटनगर नगरपालिका पहुंच स्टोर रूम प्रभारी व कनिष्ठ सहायक से पुछताछ की तो सामने आया कि पावटा नगरपालिका का कर्मचारी पत्रावलियां देकर गया जिनपर कर्मचारयों के हस्ताक्षर ही नहीं है। जब पुलिस ने पत्रावलियों की जांच कराई तो उसमें कई समस्याएं आई। पुलिस ने और पुछताछ की तो पता लगा कि पार्षदों तक को टेंडर के बारें में पता ही नहीं हैं। जबकि इतने बड़े टेंडर में बोर्ड के सदस्यो की अनुमति भी अनिवार्य होती है।

इन कार्यो का हुआ था टेंडर

पुलिस की कार्यवाही में सामने आया कि विराटनगर पालिका में दीपावली पर कार्याें का टेंडर जारी किया गया था। निम्नांकित सामाग्री व भुगतान

ये आरोपी गिरफ्तार

पुलिस ने फर्जी टेंडर जारी करने पर व 60 लाख का घोटाला में तत्कालीन विराटनगर अधिशासी अधिकारी मनीषा यादव, नगर पालिका अध्यक्ष सुमिता सैनी, प्रोपराइटर भैरूराम गुर्जर व प्रोपराइटर रामदयाल यादव के साथ ही नगर पालिका पावटा के कैशियर रिंकू यादव के खिलाफ केस दर्ज किया है।

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