कोरोना कंट्रोल के लिए मुख्यमंत्री अशोक गहलोत की लाइव ओपन बैठक हुई। इसमें गहलोत ने कहा कि हमें वैक्सीनेशन को लेकर सख्ती करनी होगी। 3 जनवरी से प्रदेश में नाइट कर्फ्यू में और सख्ती की जाएगी। पंजाब की तर्ज पर नई SOP जारी करनी पड़े तो भी कोई परहेज नहीं है।
31 जनवरी वैक्सीन की दोनों डोज लगाने का समय है। इसके बाद हमें सख्ती करनी होगी। पंजाब की तर्ज पर राजस्थान में भी बिना वैक्सीन की दोनों डोज लगे व्यक्ति को घर से निकलने की अनुमति (1 फरवरी से) ही नहीं हो। सीएम ने कहा- डेल्टा के वक्त भी हाहाकार मच गया था। वैरिएंट ही पूरी तरह बदल गया था। ओमिक्रॉन कब रूप बदल ले, कह नहीं सकते। अमेरिका में रोज 5 लाख केस आ रहे हैं। यह तेजी से फैलता है। पिछली बार भी ऐसे ही फैला था। राजस्थान में 90 फीसदी लोगों में एंटीबॉडी डेवलप होने की बात सीरो सर्वे में आई है। हो सकता है उसके कारण ही हम बचे हुए हों।
ओपन बैठक में स्वास्थ्य मंत्री परसादीलाल मीणा ने स्कूल बंद करने का सुझाव दिया। मीणा ने कहा- सैंपलिंग का काम धीमा है। जयपुर की रोज सैंपलिंग 20 हजार होनी चाहिए। हम गवर्नर हाउस गए थे, वहां हमारी सैंपलिंग हुई है। तो बाकी जगह करने में क्या दिक्क्त है? जयपुर की हालत बहुत विस्फोटक हो सकती है। इस पर हमें कंट्रोल करना होगा।
स्कूल, दफ्तरों में मूवमेंट को कंट्रोल किया जाएगा
आरयूएचएस के इंचार्ज डॉ अजीत सिंह ने कहा कि वायरस के केस तेजी से बढ़े हैं। ये केस रुकेंगे कैसे? इस पर फोकस करना होगा। हमें कोविड अप्रोप्रिएट बिहेवियर पर जोर देना होगा। इसमें 100 फीसदी वैक्सीनेशन को भी जोड़ना होगा। जनवरी के बाद दफ्तर, स्कूल में मूवमेंट रोका जाए।