सरपंच और ग्राम विकास अधिकारी ने मिलकर पैसों के लालच में रिश्तों का गणित ही बिगाड़ दिया। जी हां सहयोग उपहार योजना में लोगों के भाई की बहन और ससुर की पुत्रवधु के मैरिज सर्टिफिकेट तैयार कर दिए। दोनों इस योजना के पैसे उठाते उससे पहले ही थाने में इस मामले की शिकायत कर दी।
राजस्थान के जैसलमेर जिले की पंचायत समिति सम की ग्राम पंचायत तुर्कों की बस्ती में सरपंच और ग्राम विकास अधिकारी ने गांव के लोगों के फर्जी मैरिज सर्टिफिकेट बना डाले। ये काम सहयोग उपहार योजना के नाम पर किया गया। इस बारे में ग्रामीणों को भनक तक नहीं लगी कि उनके रिश्ते जोड़तोड़ कर मैरिज सर्टिफिकेट बना दिए गए हैं, लेकिन सरपंच और ग्राम विकास अधिकारी अपने खातों में पैसा पहुंचा पाते इससे पहले ही मामला सामने आ गया। गुरुवार को दोनों के खिलाफ सम थाने में शिकायत दर्ज हो गई है।
ग्राम पंचायत तुर्कों की बस्ती के सरपंच शोभे खान व तत्कालीन ग्राम विकास अधिकारी राजमल रैगर ( वर्तमान में अड्बाला ग्राम पंचायत ) ने ग्रामीणों को उपहार योजना में फायदा दिलाने की नीयत से विवाह पंजीयन बनाने का काम शुरू किया। योजना का लाभ खुद को दिलाने के लिए ग्रामीणों की जानकारी के बिना ही उनके विवाह पंजीयन बनाए। ग्राम विकास अधिकारी विवाह पंजीयन अधिकारी भी होता है इसलिए अब तक 79 विवाह पंजीयन बना डाले। ग्रामीणों का कहना है कि ये सभी विवाह पंजीयन फर्जी तरीके से बनाए गए। इनमें तो कुछ लोगों ने पहले से पंजीयन करवा लिया था।.
ग्रामीण खुदाबख्स ने जानकारी देते हुए बताया कि उनके गाँव सम में मेरा भांजा इमाम खान ई-मित्र संचालन करता है। एक दिन उसने विवाह पंजीयन को ऑनलाइन जाँचते हुए पाया कि उसके नाना आदु खान (82) वर्ष निवासी तुर्कों कि बस्ती का विवाह पंजीयन 1 जून 2021 को बनना पाया गया। जबकि उसकी नानी कि मृत्यु 12 साल पहले ही हो चुकी है। वो चौंक गया और उसने विवाह पंजीयन कि खोजबीन कि तो उसने पाया की उसके नाना की नई फर्जी शादी का पंजीयन उम्मत पुत्री धिंगाना से हुई पाई। ज्यादा खोजबीन की तो मामा की शादी का पंजीयन भी होना पाया जिसमे नाना और मामा दोनों कीशादी एक ही घर में दो बहनों से होना पाया। उसने इस फर्जीवाड़े की जानकारी अपने नाना,मामा और परिजनों को दी। सबके पैरों के तले जमीन खिसक गई। ग्रामीणों को जब इस मामले की जानकारी मिली तो पाया गया कि तुर्कों की बस्ती के 79 विवाह पंजीयन बनाए गए वो सब फर्जी है।
सहयोग उपहार योजना में बीपीएल परिवार की लड़कियों को ही मिलता है लाभ
ग्रामीणों का आरोप है कि “चूंकि सरकार की सहयोग उपहार योजना में केवल बीपीएल परिवार की 2 लड़कियों को ही इसका लाभ मिलता है। इसको देखते हुए सरपंच व तत्कालीन ग्राम विकास अधिकारी ने BPL की लिस्ट ऑनलाइन निकालकर उनके नाम से फर्जीवाड़े करके विवाह पंजीयन बनाए गए जो फर्जी है।
ग्रामीणों ने आरोप लगाया की फर्जी बनाए विवाह पंजीयनों मे तत्कालीन वीडीओ राजमल रैगर जो विवाह पंजीयन अधिकारी भी था और सरपंच शोभे खान ने रिश्तों को शर्मसार कर दिया। ग्रामीणों ने बताया कि पैसों के लालच में दोनों ने विवाह पंजीयन इस तरह से बनाए की आपसी रिश्ते भी शर्म आने लग जाए। विवाह पंजीयनों मे भाई बहन की आपस में शादी, बाप बेटे की शादी दो सगी बहनों से ,एक ही आदमी की चार शादियाँ तथा नाबालिग किशोर जो वर्तमान में स्कूलों में पढ़ाई कर रहे है उनके भी विवाह पंजीयन बनाए गए हैं साथ ही एक ही व्यक्ति कि अलग अलग महिलाओं से शादी करना बताया गया।
सरकारी कर्मचारी का करवा दिया दूसरा विवाह- कादर बख्स नामक शख्स कम्यूनिटी हैल्थ ऑफिसर के पद पर सम अस्पताल में कार्यरत है। कदरबाख्स ने बताया की उसकी शादी 5 जनवरी 2018 को हो चुकी है। और उसका विवाह पंजीयन 17 अप्रैल 2018 को जारी हो चुका है। मगर इन लोगों ने मेरा एक फर्जी विवाह पंजीयन 15 जून 2021 को अनीमत पुत्री गुलन निवासी तुर्कों की बस्ती के साथ बना दिया। जो की बिलकुल ही फर्जी है। मेरी जानकारी में आने पर मैंने गुरुवार को सम थाने में परिवाद दायर किया है।