Diya Kumari : जयपुर पूर्व राजपरिवार के सदस्य एवं राजस्थान उप मुख्यमंत्री Diya Kumari के बेटे पद्मनाभ सिंह सड़क हादसे में गंभीर घायल हो गए। बाद में अस्पताल में भर्ती होने के बाद सर्जरी करवानी पड़ी। जिस कार में पद्मनाथ सिंह सवार थे, उसमें उनके पिता नरेंद्रसिंह व बहन गौरवी कुमारी भी थी। दुर्घटना की सूचना पर उप मुख्यमंत्री दीया कुमारी भी मौके पर पहुंच गई। यह सड़क हादसा लंदन (इंग्लैंड) में हुआ, जहां छुटि्टयां बिताने के लिए गए थे। दुर्घटना में पद्नाभ के अलावा नरेंद्रसिंह व गौरवी कुमारी ठीक बताई जा रही है। फिलहाल पद्मनाभ सिंह के भी खतरे से बाहर बताया जा रहा है।
jaipur royal family : जयपुर सिटी पैलेस से मिली जानकारी के मुताबिक दीया कुमारी के बेटे पद्मनाभ उनकी बहन गौरवी कुमारी व पिता नरेंद्रसिंह के साथ कुछ दिन पहले लंदन गए थे, जहां कार में जा रहे थे, तभी हादसा हो गया। दुर्घटना में पद्मनाभ सिंह गंभीर घायल हो गए। हादसे के बाद लंदन के अस्पताल में भर्ती करवाया, जहां एक सर्जरी भी करनी पड़ी है। पद्मनाभ और गौरवी कुमारी ने कुछ समय पहले अपने सोशल मीडिया प्लेटफार्म पर लंदन में घूमते हुए के फोटो शेयर किए थे। पद्मनाभ अपने पिता नरेंद्र सिंह और बहन गौरवी कुमारी के साथ लंदन गए थे। कार में उनके साथ पिता और बहन भी सवार थे, लेकिन उनके ज्यादा कोई चोट नहीं आना बताया जा रहा है। हादसे की सूचना के बाद राजस्थान उप मुख्यमंत्री दीया कुमारी भी लंदन पहुंच गई हैं।
Padmanabha injured : भाई बहन ने शेयर किया था घूमने का फोटो
Padmanabha injured : भारत से लंदन जाने के बाद पद्मनाभ व बहन गौरवी के साथ घूमते हुए फोटो खींचा और फिर सोशल मीडिया पर शेयर किया था। सड़क हादसे से कुछ दिन पहले पद्मनाभ स्कॉटलैंड के ड्रमंड कैसल में हुए डियोर क्रूज शो में शामिल होने पहुंचे थे। वहां पर भी उनकी बहन गौरवी कुमारी साथ में मौजूद थी। हादसे के बाद उनके प्रशंसक भी हैरान है।
पद्मनाभ ने लंदन से की थी पोलो की शुरुआत
जयपुर में पूर्व राजपरिवार सदस्य होने के साथ पद्मनाभ पोलो के खिलाड़ी हैं। पद्मनाभ ने पोलो करियर की शुरुआत वर्ष 2015 में लंदन से ही की थी। वहां पर विंडसर में गाड्र्स पोलो क्लब के सदस्य बने थे, जहां पर वर्ष 2017 में हर्लिंगम पार्क की ऐतिहासिक यात्रा में भारतीय नेशनल टीम की कमान संभाली थी, जो 70 से ज्यादा साल में वहां जाने वाली पहली भारतीय टीम थी। इससे पहले उनके दादा कमान संभाल चुके थे।
Jaipur में पद्मनाभ ने ही पोलो को दी ऊंचाइयां
Jaipur के पद्मनाभ एक पोलाे खिलाड़ी है। ऐसे में पद्मनाभ न केवल पोलो में अपने कौशल के लिए जाने जाते हैं, बल्कि अपनी लाइफ स्टाइल से भी चर्चा में हैं। पद्मनाभ की पहल पर ही जयपुर पोलो को फिर से नई ऊंचाइयां मिली। 2011 में सवाई भवानी सिंह के निधन के बाद पद्मनाभ को 12 साल की उम्र में अनौपचारिक रूप से जयपुर के महाराजा का ताज पहनाया गया था। पद्मनाभ सिंह जयपुर के शाही परिवार के 303वें वंशज हैं। पद्मनाभ सिंह ने अजमेर के फेमस मेयो कॉलेज और इंग्लैंड के प्रसिद्ध पब्लिक स्कूल मिलफील्ड से शिक्षा ली है।
Deputy CM Diya के दोनों बेटे बन चुके हैं महाराज
Deputy CM Diya Kumari : स्वर्गीय महाराजा सवाई सिंह व महारानी पद्मिनी देवी की बेटी दीया कुमारी के दोनों बेटे महाराज बन चुके हैं। एक बेटा 12 साल की उम्र में रियासत संभालने लगा तो दूसरे ने महज 9 साल में यह जिम्मेदारी संभाली। दीया कुमारी खुद राजकुमारी है लेकिन अब दो महाराज की मां कहलाने का गौरव उन्हें मिल गया है। दीया कुमारी वर्तमान में जयपुर से भाजपा विधायक और राजस्थान सरकार में उप मुख्यमंत्री है। इससे पहले राजसमंद से सांसद भी रह चुकी है। इनके दोनों बेटों का राजतिलक हो चुका है। अप्रैल 2011 में दीया कुमारी के बड़े बेटे पद्मनाभ सिंह का जयपुर के राजघराने में पूरे शाही ठाठ के साथ राजतिलक हुआ था। स्वर्गीय सवाई सिंह के कोई पुत्र नहीं था। इस कारण अपनी पुत्री के बेटे पद्मनाभ को गोद लिया। पद्मनाभ को युवराज बनाया था, जिसे उनके बाद राजघराने की गद्दी संभालने की जिम्मा दिया है। इसी तरह एक 9 वर्षीय राजकुमार ने दक्षिणी हिमाचल प्रदेश की पहाड़ियों में स्थित एक पूर्व रियासत सिरमौर के महाराजा का पद संभाला। ये राजकुमार जो कि अब महाराजा बन चुका है दीया कुमारी का दूसरा बेटा है। इनका नाम है लक्ष्यराज सिंह। मई 2013 में इनका भी सिरमौर में शाही ठाठ के साथ राजतिलक किया था। फिलहाल दीया कुमारी ने अपने पति नरेंद्र सिंह को तलाक दे रखा है।